भारत पर निबंध
भारत पर निबंध : भारत अपने अतीत में में गौरवशाली इतिहास समेटे हुए है| इसके गर्भ में अनेक प्राचीन संस्कृतियाँ एवं मनाव सभ्यता के क्रमिक-विकास को गौरवपूर्ण गाथा है, जिससे हम भारतवासी अपनी अद्वितीय आन-बान-शान से विश्व में अग्रणी रहें हैं| भारत की संस्कृति की गणना विश्व की प्राचीनतम सभ्यताओं में होती है|
इस संसार को प्राय: सभी संस्कृतियों के नष्ट होने पर भी भारतीय संस्कृति से के अनेक झंझावतों और तूफानों के सामने अपनी उच्चता और महानताको अक्षुण्ण रखे हुए है|
मानव-संस्कृति के आदिम-ग्रन्थ ऋग्वेद की रचना का सरे इसी भारत देश को प्राप्त है| इस देश की मनीषी आत्मा अरु परमात्मा की गुत्थियाँ सुलझानेवाले कोरे दार्शनिक ही नहीं थे, वरन् ज्ञान-विज्ञान के विभिन्न क्षेत्रों की गहराई से खोज की|
संगीतकला, चित्रकला, मूर्तिकला, स्थापत्यकला में भी हमने बेजोड़ (अश्चार्जनक) उन्नति की| हमारे देश भारत में उस समय की उच्चकोटि की नगरीय सभ्यता विकसित हो चुकी थी जिस समय संसार का अधिकांश भाग घुमंतू जीवन अपनाए हुए था| सिन्धु घाटी की सभ्यता इसका बेहतर उदाहरण है|
मेरा देश भारत प्रकृति की पुन्य लीलास्थली तथा विश्व का सिरमौर है| माँ भारती के मस्तक पर हिमालय मुकुट के सामान, गली में गंगा तथा युमना हार के सामान और दक्षिण में भारत माता के चरणों को हिन्द महासागर निरंतर धोता रहता है|
गंगा, युमना, सतलुज, व्यास, गोमती, कावेरी जैसी अनेक नदियों का यह देश भारत अन्न के रूप में सोना उगलता है तथा केवल यहीं पर सभी प्रकार के ऋतुएँ पायी जाती है|
अपने अंतर में संजोये अनेक प्राचीन संस्कृति का साक्षी भी हमारा देश भारत समय-समय पर आने वाली विभिन्न संस्कृतियों, धर्म और सम्प्रदायों को अपने यहाँ आश्रय देता रहा है| यही कारण है कि यहाँ अनेकता में एकता का अद्वितीय उदाहरण देखने को मिलता है| विविध आस्थाओं, धार्मिक विश्वास, और सामाजिक जीवन शैली की अनूठी मिसाल है भारत| बहरत सामाजिक धार्मिक अनेकता (विविधता) को एक सूत्र में पिरोये हैं भारत|